बांग्लादेश सीमा पर बढ़ा तनाव, CM हिमंता ने उपद्रवियों के खिलाफ 'शूट एट साइट' का दिया आदेश
Bangladesh News: असम के धुबरी जिले में बांग्लादेश सीमा के पास सांप्रदायिक तनाव के बाद स्थिति नियंत्रण में लाने के लिए मुख्यमंत्री हिमंता बिस्वा सरमा ने कड़ा रुख अपनाया है। उन्होंने उपद्रवियों के खिलाफ रात के समय 'शूट एट साइट' (देखते ही गोली मारने) का आदेश जारी किया है। यह निर्णय 7 जून को धुबरी के हनुमान मंदिर के पास कथित तौर पर गोमांस का सिर फेंके जाने की घटना के बाद बढ़े तनाव के मद्देनजर लिया गया। इस घटना ने स्थानीय समुदायों के बीच आक्रोश और विरोध प्रदर्शन पैदा कर दिया। जिसके बाद प्रशासन ने सख्त कदम उठाए।
तनाव की शुरुआत और प्रशासन की प्रतिक्रिया
धुबरी में तनाव की शुरुआत रविवार, 8 जून को हुई, जब हनुमान मंदिर के पास मांस के टुकड़े मिलने की खबर फैली। स्थानीय लोगों ने इसे धार्मिक भावनाओं को ठेस पहुंचाने की कोशिश माना और विरोध प्रदर्शन शुरू कर दिए। स्थिति को नियंत्रित करने के लिए पुलिस ने आंसू गैस का इस्तेमाल किया और जिला प्रशासन ने निषेधाज्ञा लागू कर दी। मुख्यमंत्री सरमा ने शुक्रवार, 13 जून को धुबरी का दौरा कर स्थिति का जायजा लिया और अधिकारियों को सख्त निर्देश दिए। उन्होंने कहा "एक सांप्रदायिक समूह मंदिरों को अपवित्र करने की कोशिश कर रहा है जिसे बर्दाश्त नहीं किया जाएगा।"
बीफ माफिया' और बांग्लादेश कनेक्शन
मुख्यमंत्री ने आरोप लगाया कि बकरीद के दौरान पश्चिम बंगाल से हजारों मवेशियों को धुबरी लाया गया, जिससे एक 'नया गोमांस माफिया' उभरा है। उन्होंने इसकी जांच के आदेश दिए और कहा कि दोषियों को गिरफ्तार किया जाएगा। सरमा ने बांग्लादेश के हालिया राजनीतिक घटनाक्रमों को भी तनाव से जोड़ा, जिसमें "चरमपंथी तत्व" सोशल मीडिया और जमीनी स्तर पर सक्रिय हैं। उन्होंने कहा अगर जरूरत पड़ी, तो मैं खुद रात भर हनुमान मंदिर की पहरेदारी करूंगा।
प्रशासनिक कदम और शांति
धुबरी में रैपिड एक्शन फोर्स (RAF) और केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल (CRPF) को तैनात किया गया है। पुलिस ने 16 लोगों को गिरफ्तार किया है और शांति समितियों का गठन किया गया है। जिसमें हिंदू और मुस्लिम समुदाय के लोग शामिल हैं। मंगलवार तक स्थिति सामान्य होने की खबर थी। लेकिन तनाव पूरी तरह खत्म नहीं हुआ है। जिला प्रशासन ने पाबंदियां हटा दी हैं और दुकानें खुल गई हैं। लेकिन सतर्कता अभी भी बरती जा रही है।
सीमा पर घुसपैठ का मुद्दा
धुबरी में तनाव के बीच बांग्लादेश सीमा पर घुसपैठ का मुद्दा भी चर्चा में है। असम पुलिस ने पिछले साल अगस्त से अब तक 330 से अधिक घुसपैठियों को पकड़कर वापस भेजा है। सुप्रीम कोर्ट के निर्देश के तहत 1971 के बाद आए बांग्लादेशी नागरिकों को 'विदेशी' घोषित कर निर्वासन की प्रक्रिया तेज कर दी गई है।
मुख्यमंत्री सरमा ने धुबरीवासियों को आश्वासन दिया कि सरकार उनके साथ है और किसी को डर में जीने की जरूरत नहीं है। प्रशासन की सख्ती और शांति समितियों के प्रयासों से स्थिति नियंत्रण में है। लेकिन लंबे समय तक शांति के लिए सामुदायिक सहयोग जरूरी है।
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