भारत में ऑनलाइन गेम पर लगा रोक, अब नहीं डाउनलोड कर पाएंगे ये वाला एप
Online Gaming Ban: भारत में ऑनलाइन गेम, जिसे खेलने के लिए पैसों का भुगतान करना पड़ता है, अब इस पर रोक लगा दी गई है। संसद में गुरुवार, 21 अगस्त को ऑनलाइन गेमिंग संवर्धन और विनियमन विधेयक को पास कर दिया गया। राज्यसभा में हंगामे के बीच बिना बहस के इसे मंजूरी दे दी। इलेक्ट्रॉनिक्स और आईटी मंत्री अश्विनी वैष्णव द्वारा प्रस्तुत इस विधेयक का उद्देश्य ईस्पोर्ट्स और ऑनलाइन सोशल गेमिंग को छोड़कर सभी तरह के ऑनलाइन मनी गेम्स पर रोक लगाना है। वहीं, विपक्षी सदस्यों की ओर से प्रस्तुत संशोधनों को अस्वीकार करने के बाद उच्च सदन ने इसे मंजूरी दे दी है।
इस विधेयक को बुधवार, 20 अगस्त को लोकसभा और गुरुवार को राज्यसभा से पारित किया गया। इसमें ऑनलाइन मनी गेम्स से संबंधित विज्ञापनों पर भी रोक लगाने और बैंकों और वित्तीय संस्थाओं को ऐसे किसी भी गेम के लिए पैसे देने पर रोक लगाने के लिए कहा गया है।
करोड़ रुपये होते हैं बर्बाद
सूत्र के अनुसार, संसद से पास किए गए बिल में पैसे का इस्तेमाल करते हुए खेले जाने वाले ऑनलाइन गेम्स पर पूरी तरह से प्रतिबंध की बात कही गई है। इन गेम्स के कारण बच्चों और युवाओं को इसकी लत लग जाती है। इसके अलावा उन्हें वित्तीय नुकसान भी होता है और इस कारण आत्महत्याएं भी होती हैं। सरकार का कहना है कि लगभग 45 करोड़ लोग हर साल ऑनलाइन रियल मनी गेमिंग में लगभग 20,000 करोड़ रुपये बर्बाद कर देते हैं।
सरकार ने देखा कि ऑनलाइन रियल मनी गेमिंग समाज के लिए एक बड़ी समस्या बनती जा रही है और इसलिए केंद्र ने लोगों की भलाई के लिए राजस्व हानि का खतरा उठाते हुए इस पर रोक लगाने का फैसला लिया है। इसे लेकर कहा जा रहा है कि ये एक मोटा अनुमान है कि हर साल 45 करोड़ लोग अपना पैसा गंवाते हैं।
नियमों का करना होगा पालन
इस प्रस्तावित कानून में एक वैधानिक नियामक प्राधिकरण की स्थापना की भी बात कही गई है। इस प्राधिकरण के पास यह निर्धारित करने की शक्ति होगी कि कोई गेम ऑनलाइन मनी गेम के रूप में योग्य है या नहीं। सभी प्लेटफार्मों को प्राधिकरण की ओर से निर्धारित नियमों का पंजीकरण और पालन करना होगा।
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