'भारत की स्वदेशी रक्षा शक्ति...', नासिक से तेजस Mk-1A के उड़ान भरने पर गर्व से बोले राजनाथ सिंह

'भारत की स्वदेशी रक्षा शक्ति...', नासिक से तेजस Mk-1A के उड़ान भरने पर गर्व से बोले राजनाथ सिंह

Tejas Mk-1A Fighter Jet: भारत की स्वदेशी रक्षा प्रौद्योगिकी को एक नया आयाम मिला है। हिंदुस्तान एयरोनॉटिक्स लिमिटेड (HAL) की नासिक इकाई से निर्मित पहले लाइट कॉम्बैट एयरक्राफ्ट (LCA) तेजस Mk-1A लड़ाकू विमान ने आज अपनी पहली आधिकारिक उड़ान भरी। इस समारोह में रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने HAL की तीसरी उत्पादन लाइन का उद्घाटन किया, जो भारतीय वायुसेना (IAF) की क्षमता को मजबूत करने की दिशा में एक अहम कदम है। इस मौके पर राजनाथ सिंह ने कहा 'यह देखकर सीना गर्व से चौड़ा हो गया है। भारत अब आत्मनिर्भर भारत के सपने को साकार कर रहा है।'

तेजस Mk-1A की पहली उड़ान

बता दें, आज 17अक्टूबर को सुबह नासिक के HAL सुविधा केंद्र पर आयोजित भव्य समारोह में तेजस Mk-1A (डिजाइनेशन LA-5043) ने सफलतापूर्वक अपनी परीक्षण उड़ान पूरी की। विमान ने आसमान में उड़ान भरते ही दर्शकों का दिल जीत लिया। उड़ान के बाद इसे पारंपरिक जल तोप सलामी दी गई, जो भारतीय विमानन परंपरा का हिस्सा है। इस अवसर पर रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने HAL की नासिक इकाई में दूसरी HTT-40ट्रेनर विमान उत्पादन लाइन का भी उद्घाटन किया।

समारोह में भारतीय वायुसेना के अधिकारियों, HAL के वैज्ञानिकों और स्थानीय प्रशासन के प्रतिनिधि शामिल हुए। एयर चीफ मार्शल एपी सिंह ने हाल ही में कहा था कि IAF इस विमान का बेसब्री से इंतजार कर रही है, जैसे 'भूखे मुंह का इंतजार भोजन का हो।' यह उड़ान नासिक इकाई की पहली तेजस Mk-1A उड़ान है, जो HAL की उत्पादन क्षमता को 24विमानों प्रति वर्ष तक बढ़ाने में सहायक सिद्ध होगी। नासिक सुविधा पर 150करोड़ रुपये से अधिक का निवेश किया गया है, जो सालाना आठ अतिरिक्त विमानों का निर्माण संभव बनाएगी।

राजनाथ सिंह का संदेश

उद्घाटन भाषण में राजनाथ सिंह ने कहा 'उड़ान भरना आसान है, लेकिन लैंडिंग ज्यादा महत्वपूर्ण है। विकसित भारत 2047का सपना तभी साकार होगा जब हम शुरू किए काम को पूरा करें।' उन्होंने HAL के प्रयासों की सराहना की और कहा कि यह उपलब्धि न केवल IAF की ताकत बढ़ाएगी, बल्कि निर्यात के द्वार भी खोलेगी। सिंह ने जोर दिया कि नासिक सुविधा सतत विकास का उदाहरण है, जहां पर्यावरण और प्रगति साथ-साथ चलें।

स्वदेशी तकनीक का प्रतीक तेजस Mk-1A

दरअसल, तेजस Mk-1A भारत का 4.5पीढ़ी का बहुउद्देशीय लड़ाकू विमान है, जो MiG-21बाइसन जैसे पुराने विमानों की जगह लेने के लिए डिजाइन किया गया है। जैसे - आधुनिक AESA रडार सिस्टम, जो दुश्मन के रडार को चकमा देने में सक्षम है। साथ ही, हवा, हवा से जमीन और समुद्री हमलों के लिए विविध हथियारों का समर्थन, जिसमें एयर-टू-एयर रिफ्यूलिंग की सुविधा।

इसकी अधिकतम गति 2,200 किमी/घंटा से अधिक, जो हल्के वजन के कारण बेहद फुर्तीला है। HAL ने इसे बेंगलुरु के बाद नासिक को तीसरी उत्पादन इकाई बनाकर तेजी से वितरण सुनिश्चित किया है। हालांकि, GE इंजनों की आपूर्ति में देरी के कारण डिलीवरी में कुछ विलंब हुआ, लेकिन अब उत्पादन गति पकड़ चुका है।

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