कॉरपोरेट बुकिंग पर करण जौहर का खुला बयान, कहा- फिल्ममेकर अपनी फिल्मों के टिकट खुद...

कॉरपोरेट बुकिंग पर करण जौहर का खुला बयान, कहा- फिल्ममेकर अपनी फिल्मों के टिकट खुद...

Entertainment News: कहावत है कि हीरों की पहचान जौहरि को होती है... लेकिन HERO की पहचान जौहर को ही है। बॉलीवुड के फेमस फिल्म निर्माता करण जौहर को कौन नहीं जानता? अपनी फिल्मों को लेकर हमेशा सुर्खियों में रहने वाले करण एक बार फिर चर्चा में हैं। इस बार उन्होंने कॉरपोरेट बुकिंग्स को लेकर अपनी राय रखी है।

बिते कुछ दिनों से बॉलीवुड में कॉरपोरेट बुकिंग्स का मुद्दा तूल पकड़ रहा है। अब इसी पर करण ने भी अपनी प्रतिक्रिया दी है। उन्होंने कहा कि अगर किसी फिल्म का बॉक्स ऑफिस पर प्रदर्शन अच्छा होता है, तो इसका कारण फिल्म की स्क्रिप्ट नहीं बल्कि फिल्ममेकर का खुद अपनी ही फिल्म की टिकट्स खरीदने का बिजनेस होता है। साथ ही उन्होंने इस बात पर भी ज़ोर दिया कि ये बिल्कुल समय के परे है कि आखिर फिल्म अच्छी है या नहीं, इसे तय करने का मौका केवल ऑडियंस को क्यों नहीं दिया जाता? हालांकि करण ने ये भी माना कि जो लोग ऐसा करते हैं, वो अपनी इच्छा से करते हैं।

फिल्म की रेप्यूटेशन पर बोले करण

करण जौहर ने Komal Nahta के हालिया पॉडकास्ट में कहा कि हर कोई अपनी ज़रूरत और पसंद के हिसाब से फैसले करता है। उन्होंने उदाहरण देते हुए बताया कि अगर उन्होंने खुद को एक करोड़ रुपये देने का फैसला किया है, तो वे उस मौके पर जश्न मनाएंगे, पार्टी करेंगे और फिर वो एक करोड़ रुपये कमाने की कोशिश करेंगे। उन्होंने ये सवाल भी उठाया कि क्या ऐसा करना पागलपन है या समझदारी, और इसे सुनने वालों पर छोड़ दिया कि वे खुद फैसला करें।

करण जौहर ने ये भी कहा कि अगर आप कोई काम अपने लिए कर रहे हैं और उससे आपको खुशी मिलती है, तो उसे जरूर करें। जब आप खुद पर पैसे खर्च कर रहे हों, तो किसी को आपको जज करने का हक नहीं है। उन्होंने यह भी बताया कि अगर कोई अपने फिल्म की कमाई को सोशल मीडिया पर शेयर करके खुश होता है, तो ये बिल्कुल सही और सकारात्मक बात है।

पर हां, ऐसे काम करने से इंडस्ट्री की छवि खराब हो सकती है। इस पर करण जौहर का कहना है कि जो भी बॉक्स ऑफिस के आंकड़े और कमाई के नंबर सामने आते हैं, वे अक्सर खुद इंडस्ट्री के लोग ही बिगाड़ते हैं। असल में, दर्शकों को इस बात से फर्क नहीं पड़ता कि नंबर क्या हैं, उन्हें तो बस ये देखना होता है कि फिल्म अच्छी है या नहीं।

करण ने बताया कि अगर कोई अपनी ही फिल्म के टिकट खुद खरीदता है, तो इससे फिल्म को शुरुआती ज़ोर मिल सकता है। कई ऐसी एजेंसियां भी हैं जो आपके पैसे लेकर आपके लिए टिकट्स खरीदती हैं। हालांकि, उन्हें नहीं पता कि ये सब असल में कितना होता है, लेकिन उन्होंने इसे ‘सेल्फ बुकिंग’ कहकर नाम दिया है।

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