सनी लियोनी ने कहा, सेंसर बोर्ड हमारे पक्ष में है

सनी लियोनी ने कहा, सेंसर बोर्ड हमारे पक्ष में है

जिस्म 2 के साथ बॉलीवुड में क़दम रखने वाली भारतीय कनाडाई मूल की चर्चित अभिनेत्री सनी लियोनी मानती हैं कि फ़िल्म मस्तीज़ादे के लिए सेंसर बोर्ड ने उनके पक्ष में काम किया है। एक साल से बनी सेक्स कॉमेडी फ़िल्म मस्तीज़ादे इस साल तक़रीबन 6 महीने तक सेंसर के पास फंसी रही। साल 2015 में बन कर तैयार हुई यह फ़िल्म सेंसर बोर्ड से एडल्ट सर्टिफ़िकेट लेने के बाद अब 2016 में जनवरी के महीने में ही नज़र आएगी।

बीबीसी से ख़ास बातचीत में सेंसर पर टिपण्णी करते हुए सनी कहती है, सेंसरशिप भले ही निर्देशक मिलाप ज़वेरी के पक्ष में ना गया हो पर मेरे पक्ष में ज़रूर गया है। वो कहती है, सेंसर अपना काम ही कर रहा है और क्रिएटिव लोग होने के नाते हमें हमेशा अपने दायरे बढ़ाकर नई चीज़ बनानी चाहिए। क़िस्मत से हम और सेंसर बोर्ड एक अच्छे समझौते पर आ गए। भारत में एडल्ट कॉमेडी फ़िल्मों को लेकर बने एक रूढ़िवादी रवैये पर टिप्पणी करते हुए सनी लियोनी कहती है, भारत रूढ़िवादी नहीं है क्योंकि इस तरह के कंटेंट की डिमांड है। लोग इसका आनंद उठाते हैं क्योंकि ऐसे कंटेंट हास्यपूर्ण होते है। कई बार हमारे आसपास ऐसे लोग होते है। जो हम पर दबाव डालते हैं और हमें ये महसूस करवाते हैं कि हम जो कर रहे हैं वो ग़लत है। सनी लियोनी के लिए 2015 सुखद और दुखद दोनों रहा क्योंकि जहाँ उनकी फ़िल्म एक पहेली लीला ने अच्छा कारोबार किया वहीं दूसरी फ़िल्म कुछ कुछ लोचा है बुरी तरह से फ़्लॉप हो गई। इसके अलावा साल 2015 में ही मई के महीने में उनपर मुंबई से सटे उपनगर ठाणे में अश्लीलता का केस भी दर्ज हुआ।

यह केस एक गृहणी ने अपने बेटे के पास सनी के एडल्ट वीडियो देखकर दर्ज करवाया और फ़िलहाल यह केस कोर्ट में चल रहा है। सनी ने कहा, क्योंकि अभी इस मामले में अदालती कारर्वाई चल रही है तो मैं इस बारे में ज़्यादा कुछ नहीं कह सकती, लेकिन मैं यह ज़रूर मानती हूँ कि ऐसी घटनाएं आपको बेहद मज़बूत इंसान बनाती है। वैसे निर्देशक मिलाप ज़वेरी की सेक्स कॉमेडी मस्तीज़ादे में सनी डबल रोल में दिखेंगी और इस फ़िल्म में अभिनेता तुषार कपूर और वीर दस भी अहम भूमिका निभाते दिखेंगे।

 

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