
Assam Polygamy Ban Law 2025: असम विधानसभा ने बहुविवाह पर रोक लगाने वाला \\ विधेयक पारित कर दिया है। 'असम बहुविवाह निषेध विधेयक, 2025' नामक इस कानून के तहत दूसरी शादी करने पर सात साल तक की कैद और जुर्माना लग सकता है। मुख्यमंत्री हिमंता बिस्वा सरमा ने इसे महिलाओं के अधिकारों की रक्षा का कदम बताया है और कहा है कि यह किसी धर्म के खिलाफ नहीं है। विधेयक में दोषियों को सरकारी नौकरियों, योजनाओं और चुनाव लड़ने से अयोग्य ठहराने का प्रावधान है। यह कानून राज्य में समान नागरिक संहिता (UCC) की दिशा में पहला कदम माना जा रहा है।
बहुविवाह विधेयक हुआ पारित
असम सरकार ने बहुविवाह को महिलाओं के लिए एक अभिशाप बताते हुए इस पर रोक लगाने का फैसला लिया। मुख्यमंत्री सरमा ने विधानसभा में कहा कि इस्लाम में बहुविवाह को बढ़ावा नहीं दिया गया है और यह केवल अपवाद के रूप में है। उन्होंने तुर्की और पाकिस्तान जैसे देशों का उदाहरण दिया, जहां बहुविवाह पर नियंत्रण है। विधेयक एक समिति की रिपोर्ट पर आधारित है, जिसमें जस्टिस (सेवानिवृत्त) रूमी कुमारी फुकन की अगुवाई में जनता की राय ली गई थी। ज्यादातर लोगों, जिसमें मुस्लिम समुदाय के लोग भी शामिल थे, ने बहुविवाह पर रोक का समर्थन किया। विधेयक को विधानसभा के शीतकालीन सत्र के पहले दिन पेश किया गया और 27नवंबर को पारित किया गया। अब इसे राज्यपाल की मंजूरी और राष्ट्रपति की सहमति के लिए भेजा जाएगा।
बहुविवाह विधेयक के मुख्य प्रावधान और सजा
बता दें, विधेयक में बहुविवाह को संज्ञेय अपराध बनाया गया है, जिसके तहत पुलिस बिना वारंट गिरफ्तारी कर सकती है। मुख्य प्रावधान इस प्रकार हैं:
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