Mental Issues In India: क्या मेंटल हेल्थ की समस्या पर गंभीर है सरकार? भारत में मात्र 47 अस्पताल

Mental Issues In India: क्या मेंटल हेल्थ की समस्या पर गंभीर है सरकार? भारत में मात्र 47 अस्पताल

Mental Problems In India: भारत में कई बिमारियों को बीमारी माना नहीं जाता हैं। लोगों को लगता है कुछ बीमारियों को इलाज नहीं होता बल्कि इसके उलट लोग उसका मजाक उड़ाते हैं। मेंटल हेल्थ की स्थिति कुछ ऐसी ही है। भारत में मेंटल हेल्थ पर बहुत कम बातें होती हैं। भारत के किसी गांव में इस बिमारी पर लोग चर्चा तो छोड़िए, ऐसा कोई बिमारी होती भी होगी, ये भी मालूम नहीं होगा। हालांकि, शहरों में मेंटल हेल्थ पर चर्चा होने लगी है। लोग इसे गंभीरता से लेने लगे हैं। लेकिन अभी भी भारत में मेंटल हेल्थ से सामना करने के लिए ना ही हमारे पास अच्छे डॉकटर हैं और ना ही अच्छे अस्पताल। ऐसे में राज्यसभा में मेंटल हेल्थ को लेकर सवाल पर जब सरकार का जवाब सामने आया तो हर कोई चकित रह गया।

सरकारी आकंड़े चौंकाने वाले

सरकारी आंकड़ों के अनुसार, भारत में करीब 15 करोड़ लोग मानसिक बिमारी से पीड़ित हैं लेकिन मात्र 12-14 फिसदी लोगों को इसकी जानकारी नहीं है। इसका मुख्य कारण संसाधनों और लोगों में जागरुकता की कमी है। इसके साथ ही सरकार के अनुसार, मानसिक बीमारी के इलाज के लिए सेवाओं में पहले से सुधार हुए हैं लेकिन संसाधन सीमित होने के कारण ये सभी लोगों तक नहीं पहुंच रहा है। सरकारी आंकड़े के अनुसार, देशभर में मानसिक स्वास्थय के लिए सिर्फ 47 सरकारी अस्पताल हैं। इन में से तीन मुख्य केंद्रीय अस्पताल भी शामिल है। इसमें राष्ट्रीय मानसिक स्वास्थ्य और तंत्रिका विज्ञान संस्थानबेंगलुरु, लोकप्रिय गोपीनाथ बोरदोलोई क्षेत्रीय मानसिक स्वास्थ्य संस्थानअसम और केंद्रीय मानसिक स्वास्थ्य संस्थानरांचीशामिल हैं। हालांकि, जितने अस्पताल है, उनमें भी डॉक्टर और मरीजों के अनुपात में भारी अंतर है। साथ ही उपकरणों की भी भारी कमी है। ऐसे में लोगों को सही समय पर इलाज नहीं मिल पाता है। और उन्हें काफी तकलीफ उठाना पड़ता है।

सरकार क्या कर रही है?

हालांकि, सरकार इस दिशा में काम करते दिखाई तो दे रही है। राष्ट्रीय मानसिक स्वास्थय कार्यक्रम के तहत सरकार इंफ्रा पर खासा ध्यान दे रही है। इस कार्यक्रम के तहत सरकार 25 नए मानसिक स्वास्थय केंद्र बना चुकी है। इसके साथ ही 19 सरकारी मेडिकल कॉलेजों में मानसिक स्वास्थय को लेकर 47 नए विभाग शुरु किए गए हैं, जिससे आने वाले समय में विशेषज्ञ डॉक्टर तैयार किए जा सकें। 22 नए एम्स अस्पतालों में भी मानसिक बीमारी के इलाज की व्यवस्था की गई है। सरकार मानसिक स्वास्थय को ठीक रखने के लिए जिलों के तहत कार्यक्रम बना रही है। जिला मानसिक स्वास्थय कार्यक्रम के तहत देशभर के 767 जिलों में परामर्श, दवाएं और इलाज किया जा रहा है। 

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