PAK-AFG के बीच सीमा तनाव में 12 अफगानियों की मौत और 100 घायल, तालिबान ने पाकिस्तान में घुसकर किया हमला

PAK-AFG के बीच सीमा तनाव में 12 अफगानियों की मौत और 100 घायल, तालिबान ने पाकिस्तान में घुसकर किया हमला

Pakistan-Afghanistan Border Tension: अफगानिस्तान और पाकिस्तान के बीच सीमा पर तनाव एक बार फिर चरम पर पहुंच गया है। 15अक्टूबर की सुबह हुए संघर्ष में पाकिस्तानी सेना की ओर से कथित तौर पर अफगान क्षेत्र में हमले किए गए, जिसमें कम से कम 12अफगान नागरिकों की मौत हो गई। इसके जवाब में तालिबान ने पाकिस्तान में घुसकर हमला किया, जिससे दोनों पक्षों में भारी नुकसान हुआ।

जानें हमला कहां-कैसे हुआ?

  1. सुबह के शुरुआती घंटे यानी 2से 4बजे के बीच पाकिस्तानी सेना ने अफगानिस्तान के कंधार प्रांत के स्पिन बोल्डक जिले में हल्के और भारी हथियारों से हमला शुरू किया। तालिबान सरकार के प्रवक्ता जबीहुल्लाह मुजाहिद के अनुसार, यह हमला बिना किसी उकसावे के था और इसका निशाना नागरिक इलाके थे। जिस वजह से कम से कम 12अफगान नागरिक मारे गए, जबकि 100से ज्यादा घायल हुए। कुछ रिपोर्टों में मरने वालों की संख्या 15तक बताई गई है, जिसमें महिलाएं और बच्चे भी शामिल हैं।
  2. तो वहीं, पाकिस्तान की ओर से इस हमले को 'आतंकवादियों के खिलाफ कार्रवाई' बताया गया, जहां उन्होंने दावा किया कि उन्होंने 200से ज्यादा 'तालिबान और संबद्ध आतंकवादियों' को मार गिराया। हालांकि, अफगान पक्ष ने इसे नागरिकों पर हमला करार दिया और पाकिस्तानी एयर स्ट्राइक का जिक्र किया, जो स्पिन बोल्डक और खुराबक जिलों के बीच के क्षेत्र में हुआ।
  3. इसके बाद सुबह 4से 8बजे के बीच पाकिस्तानी हमले के तुरंत बाद, तालिबान बलों ने प्रतिशोध में पाकिस्तान की सीमा में घुसकर हमला किया। यह हमला कुर्रम जिले के पास हुआ, जहां तालिबान ने पाकिस्तानी सैन्य चौकियों पर हमला बोला। अफगान तालिबान के अनुसार, यह 'पाकिस्तानी वायु हमलों का बदला' था। रिपोर्ट्स के मुताबिक, इस जवाबी कार्रवाई में कम से कम 6पाकिस्तानी पैरामिलिट्री सैनिक मारे गए। पाकिस्तानी सेना ने अपने नुकसान को 23सैनिकों की मौत तक सीमित बताया, लेकिन तालिबान ने दावा किया कि उन्होंने पाकिस्तानी बलों को भारी क्षति पहुंचाई, जिसमें कई चौकियां तबाह हो गईं। यह झड़पें सीमा के दोनों ओर फैलीं, जिसमें भारी हथियारों और रॉकेटों का इस्तेमाल हुआ।
  4. इसके बाद 8 से 2 बजे के बीच संघर्ष थमने के संकेत मिले, लेकिन छिटपुट गोलीबारी जारी रही। पाकिस्तान ने सीमा पार से "बिना उकसावे के हमले" का आरोप लगाया और कहा कि उन्होंने तालिबान के कैंपों को निशाना बनाया। अंतरराष्ट्रीय मध्यस्थों, जैसे कतर और सऊदी अरब, ने फिर से शांति की अपील की, लेकिन दोनों पक्षों ने एक-दूसरे पर आरोप लगाने जारी रखे। इस दौरान, सीमा पर यातायात बंद रहा और स्थानीय निवासियों को भारी परेशानी का सामना करना पड़ा।

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