
Shashi Tharoor Slams Colombian Gov: पहलगाम आतंकी हमले और उसके बाद भारतीय सेना के द्वारा चलाए गए ऑपरेशन सिंदूर की सफलता के बारे में दुनिया को बताने के लिए कई डेलिगेशन को भेजा गया है। इन सात डेलिगेशन में से एक का नेतृत्व कांग्रेस सांसद शशि थरूर कर रहे हैं। शशि थरूर की नेतृत्व करने वाली डेलिगेशन इस वक्त कोलंबिया में है। इस दौरान थरूर ने पाकिस्तान के साथ ही कोलंबिया की भी आलोचना की है। थरूर ने कहा,"हम कोलंबिया में अपने दोस्तों से कहेंगे कि आतंकवादियों को भेजने वालों और उनका विरोध करने वालों के बीच कोई समानता नहीं हो सकती। हमला करने वालों और बचाव करने वालों के बीच कोई समानता नहीं हो सकती।“
उन्होंने आगे कहा, “हम केवल आत्मरक्षा के अपने अधिकार का प्रयोग कर रहे हैं और अगर इस मुद्दे पर कोई गलतफहमी है, तो हम ऐसी किसी भी गलतफहमी को दूर करने के लिए यहां हैं। जैसा कि मैंने कहा, हमारे पास बहुत ठोस सबूत हैं। वास्तव में, जब यह आतंकवादी हमला हुआ, तो इसका तुरंत दावा द रेजिस्टेंस फ्रंट नामक संगठन ने किया, जो पाकिस्तान के मुरीदके में लश्कर-ए-तैयबा बेस की एक इकाई है।"
कोलंबिया पर क्यों भड़के थरूर
इस दौरान शशि थरूर कोलंबिया सरकार ने भी नाराज नजर आए। उन्होंने कोलंबिया को भी आईना दिखाया। कांग्रेस सांसद शशि थरूर ने कहा, "हम कोलंबियाई सरकार की प्रतिक्रिया से थोड़े निराश हैं, जिसने आतंकवाद के पीड़ितों के प्रति सहानुभूति दिखाने के बजाय भारतीय हमलों के बाद पाकिस्तान में हुई जानमाल की हानि पर संवेदना व्यक्त की।
भाजपा सांसद तेजस्वी सूर्या ने कहा, "हमें यह भी पता चला कि कोलंबिया भारत के बाहर भारतीय दोपहिया वाहनों के लिए दूसरा सबसे बड़ा बाजार है। हम यहां से अपने-अपने निर्वाचन क्षेत्रों और राज्यों में यह संदेश लेकर जा रहे हैं कि कोलंबिया भारतीय कंपनियों के लिए बड़े पैमाने पर आर्थिक अवसर और संभावनाएं प्रदान करता है। यह संबंध और भी मजबूत होगा, और निश्चित रूप से, सुरक्षा परिषद में कोलंबिया के चुनाव के साथ, हम आशा करते हैं कि हमारे निकटवर्ती भूगोल में भारत के सामने आने वाली सुरक्षा चुनौतियों की समझ से यह और भी मजबूत होगा।"
क्यों भेजा गया डेलिगेशन?
भारत सरकार ने कुल 7 डेलिगेशन दुनिया के अलग-अलग देशों में भेजा गया है। इस 7 डेलिगेशन में अलग-अलग राजनीतिक दलों के सांसद, पूर्व राजनायिक को शामिल किया है। इनका उद्देशय पाकिस्तान और उसके समर्थित आतंकियों की सच्चाई दुनिया को बताना है। साथ ही पहलगाम हमले और उसके बाद भारत के एक्शन को भी दुनिया के सामने रखना उद्दश्य है। आने वाले समय में FATFकी बैठक होने वाली है, जिसमें पाकिस्तान को ग्रे लिस्ट में डालने की बात चल रही है। ऐसे में डेलिगेशन तमाम देशों को इस बात पर मना रही है कि FATFकी बैठक में पाकिस्तान की पोल खोल सके।
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