GST 2.0 Reforms:भारत में गुड्स एंड सर्विसेज टैक्स (GST) व्यवस्था को और ज्यादा सरल बनाने के लिए आज 22 सितंबर से GST2.0 सुधार लागू हो चुका है। इन सुधारों के तहत आज से टैक्स स्लैब्स को दो मुख्य दरों 5% और 18% में समेट दिया गया है, जिसमें रसोई से लेकर दवाओं, इलेक्ट्रॉनिक्स और ऑटोमोबाइल तक की कीमते घट गई हैं। जिससे लाखों उपभोक्ताओं को सीधा लाभ मिलेगा। बावजूद इसके कई दुकानदार ऐसे हो सकते हैं, जो अपने फायदे के लिए उपभोक्ताओं को धोखे में रख सकते हैं, जिस से उन्हें GSTकटौती का सीधा लाभ ना मिले।
लेकिन ऐसा करना कानूनन गलत है और एंटी-प्रॉफिटियरिंग प्रावधानों के तहत दंडनीय अपराध है। यदि आपका स्थानीय दुकानदार GSTरेट में कमी के बावजूद कीमतें नहीं घटा रहा, तो चिंता न करें। सरकारी हेल्पलाइन और ऑनलाइन प्लेटफॉर्म्स के जरिए आसानी से शिकायत दर्ज कराई जा सकती है।
टैक्सदरोंमेंकमीके साथ व्यापारी ना करें घोटाला
GSTकाउंसिल की सिफारिशों के अनुसार, जब भी टैक्स दरों में कमी होती है, तो व्यापारियों को उसी अनुपात में उत्पादों या सेवाओं की कीमतें घटानी होती हैं। जैसे यदि किसी वस्तु पर जीएसटी 12% से घटकर 5% हो गया, तो दुकानदार को ग्राहक को 7% का लाभ देना अनिवार्य है। ऐसा न करने पर यह'प्रॉफिटियरिंग' माना जाता है, जो सीजीएसटी एक्ट की धारा 171 के तहत अपराध है। हालांकि, एंटी-प्रॉफिटियरिंग अथॉरिटी का कार्यकाल 31 मार्च 2025 तक सीमित था, लेकिन जीएसटी 2.0 के तहत नई शिकायतों के लिए नेशनल कंज्यूमर हेल्पलाइन (एनसीएच) को मजबूत किया गया है। अब उपभोक्ता सीधे यहां शिकायत कर सकते हैंऔर अधिकारी जांच कर दंड लगा सकते हैं।
शिकायतकैसेकरें?
शिकायत दर्ज कराने के लिए सरकारी तंत्र ने कई आसान विकल्प उपलब्ध कराए हैं। ये सभी मुफ्त हैं और हिंदी सहित 16 भारतीय भाषाओं में उपलब्ध हैं।
1. नेशनल कंज्यूमर हेल्पलाइन (NCH) पर कॉल करें
टोल-फ्री नंबर:1915
समय:सुबह 9:30 बजे से शाम 5:30 बजे तक (सोमवार से शनिवार)।
प्रक्रिया:कॉल पर अपनी समस्या बताएं, जैसे - दुकान का नाम, पता, उत्पाद का विवरण और जीएसटी कटौती का प्रमाण (जैसे पुराना बिल बनाम नया)। अधिकारी तुरंत रेफरेंस नंबर देंगे और दुकानदार से संपर्क करेंगे। अगर मामला ऐसे ना सुलझे तो आगे की कार्रवाई होगी। यह जीएसटी सुधारों का हिस्सा है, जहां एनसीएच को विशेष रूप से जीएसटी शिकायतों के लिए सशक्त बनाया गया है।
2. GSTहेल्पडेस्क पर संपर्क करें
टोल-फ्री नंबर:1800114000 या 0124-4688999
ईमेल:helpdesk@gst.gov.in
समय:24x7 उपलब्ध (हेल्पडेस्क के लिए)।
प्रक्रिया: फोन पर अपनी शिकायत बताएं या ईमेल में डिटेल्स भेजें। जीएसटी पोर्टल पर जाकर'सेल्फ सर्विस' सेक्शन में भी ट्रैक कर सकते हैं। यह विशेष रूप से सिस्टम-संबंधी मुद्दों के लिए उपयोगी है, लेकिन एंटी-प्रॉफिटियरिंग शिकायतों के लिए भी काम आता है।
3. ऑनलाइन शिकायत दर्ज करें
NCH पोर्टल: https://consumerhelpline.gov.in/ पर रजिस्टर करें, 'लॉज कंप्लेंट' चुनें और जीएसटी कैटेगरी सिलेक्ट करें। फोटो या बिल अपलोड करें।
जीएसटी पोर्टल:gst.gov.in पर 'सर्विसेज' > 'ग्रिवांस रिड्रेसल' में लॉगिन करें। यदि जीएसटीएन यूजर हैं, तो आसान; अन्यथा गेस्ट मोड से।
टिप:शिकायत में स्पष्ट सबूत दें, जैसे उत्पाद की पुरानी और नई कीमतें, ताकि जांच तेज हो।
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