
लंदन : विदेशी निवेशकों पर एमएटी कर के प्रतिकूल असर पर लगाम कसने के लिए वित्त मंत्री अरुण जेटली ने कहा कि भारत सरकार अतीत के कराधान के मुद्दों को सुलझाने के लिए एक उच्चस्तरीय समिति बनाएगी।
जेटली ने फाइनेंशियल टाइम्स में एक लेख में लिखा कि हमें कराधान को लेकर यूं तो केवल विरासत में मिले मुद्दे परेशान कर रहे हैं लेकिन हमें लगता है कि इन पर तत्काल विराम लगना चाहिए। उन्होंने कहा कि मैं एक उच्चस्तरीय समिति के गठन पर विचार कर रहा हूं जो पता लगाएगी कि अतीत के मुद्दों के समाधान के लिए क्या किया जा सकता है और इससे आगे इस तरह बढ़ा जाए कि निवेशकों को वास्तविक पूर्वानुमान तथा निश्चिंतता मिले।
जेटली ने कहा कि इस समिति को जल्द से जल्द रिपोर्ट देने का निर्देश दिया जाएगा ताकि शीघ्र कार्रवाई हो सके। हमने 21वीं सदी के लिए कर नीति तैयार की है। हमारा कर प्रशासन पिछड़ा नहीं रह सकता। हम ऐसा नहीं होने देंगे।

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