इंसानों के लिए जानलेवा साबित होगी इतनी गर्मी, जान जाने की संभावना

Weather Update: भारत की राजधानी दिल्ली में गर्मी का प्रकोप लगातार बढ़ रहा है और मौसम विभाग ने आने वाले दिनों में तापमान में और वृद्धि की चेतावनी दी है। हाल के आंकड़ों के अनुसार दिल्ली का अधिकतम तापमान 38 से 40 डिग्री सेल्सियस के बीच रहने की संभावना है। जो सामान्य से कुछ डिग्री अधिक है। लेकिन सवाल यह है कि मानव शरीर कितना तापमान सहन कर सकता है। और दिल्ली का मौजूदा तापमान इस खतरनाक सीमा से कितना दूर या करीब है?
वैज्ञानिकों के अनुसार
वैज्ञानिकों के अनुसार मानव शरीर का सामान्य तापमान 37 डिग्री सेल्सियस के आसपास होता है। जब बाहरी तापमान 40 डिग्री सेल्सियस को पार करता है। खासकर उच्च आर्द्रता के साथ शरीर की गर्मी को नियंत्रित करने की क्षमता कमजोर पड़ने लगती है। जानकारों का कहना है का 45 डिग्री सेल्सियस से अधिक तापमान विशेष रूप से 50% से अधिक आर्द्रता के साथ इंसानों के लिए घातक हो सकता है। इस स्थिति में हीट स्ट्रोक, डिहाइड्रेशन, और हृदय संबंधी समस्याएं तेजी से बढ़ सकती हैं। यदि शरीर का आंतरिक तापमान 40 डिग्री सेल्सियस से ऊपर चला जाता है। तो मृत्यु का जोखिम बढ़ जाता है।
दिल्ली का तापमान और खतरे की घंटी
दिल्ली में तापमान 38 से 40 डिग्री सेल्सियस के बीच दर्ज किया गया है। जो सामान्य से 3-4 डिग्री अधिक है। मई 2024 में दिल्ली के नजफगढ़ में तापमान 47.4 डिग्री सेल्सियस तक पहुंच गया था। जो 80 साल का रिकॉर्ड तोड़ने वाला था। मौसम विभाग ने चेतावनी दी है कि अगले कुछ दिनों में तापमान 42 डिग्री तक जा सकता है, और लू की स्थिति बनी रह सकती है। यह तापमान घातक सीमा (45 डिग्री सेल्सियस) से कुछ ही डिग्री नीचे है। जिससे दिल्लीवासियों के लिए सावधानी बरतना आवश्यक है।
उच्च आर्द्रता और प्रदूषण के स्तर ने स्थिति को और जटिल कर दिया है। दिल्ली में हवा की गुणवत्ता (AQI) मध्यम से खराब स्तर पर है। जिससे गर्मी का प्रभाव और बढ़ जाता है। विशेषज्ञ सलाह दे रहे हैं कि लोगों को दोपहर के समय बाहर निकलने से बचना चाहिए। पर्याप्त पानी पीना चाहिए और हल्के कपड़े पहनने चाहिए।
बचाव के उपाय और सावधानियां
मौसम वैज्ञानिकों का कहना है कि दिल्ली में मानसून के आगमन से पहले गर्मी और लू की स्थिति बनी रहेगी। लोगों को हीट स्ट्रोक से बचने के लिए छायादार स्थानों पर रहना, सिर ढकना, और इलेक्ट्रोलाइट्स युक्त पेय पदार्थों का सेवन करना चाहिए। विशेष रूप से बच्चों और बुजुर्गों को अधिक सावधानी बरतने की जरूरत है।
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