Rajasthan Riots: राजस्थान में जारी है हिंसा का दौर, पिछले आठ सालों में हुए 3,342 दंगे

Rajasthan Riots: राजस्थान में जारी है हिंसा का दौर, पिछले आठ सालों में हुए 3,342 दंगे

जयपुर: राजस्थान के भीलवाड़ा में एक बार फिर से सांप्रदायिक तनाव बढ़ गया है। मंगलवार की रात को एक 22साल के युवक की कथित तौर पर  कुछ लोगों ने चाकू मारकर हत्या कर दी थी। इस हत्या के बाद एक बार फिर दो समुदायों के बीच तनाव बढ़ गया है। जानकारी के मुताबिक पैसों को लेकर यह विवाद हुआ था। इस घटना के बाद स्थानीय लोगों में काफी रोष देखा जा रहा है।

भीलवाड़ा के जिला कलेक्टर आशीष मोदी ने इस घटना के बाद कहा है कि, “गुरुवार, 12मई को सुबह 6बजे तक भीलवाड़ा में इंटरनेट सेवाएं निलंबित रहेंगी।” बीती रात यहां एक व्यक्ति की कथित तौर पर चाकू मारकर हत्या करने के बाद इलाके में तनाव के मद्देनजर यह मामला सामने आया है, जिसे लेकर प्रशासन पूरी तरह से सतर्क है। पुलिस की गश्ती तेज कर दी गई है।

पिछले दो महीने के अंदर राजस्थान में तीन बार सांप्रदायिक तनाव की स्थिति बन चुकी है। हिंदू नववर्ष पर दो अप्रैल को करौली में हिंसा भड़की थी। दो मई को जोधपुर में हिंसा हुई। तब धार्मिक झंडा हटाने को लेकर विवाद शुरू हुआ था और बाद में पथराव शुरू हो गया। नेशनल क्राइम रिकॉर्ड ब्यूरो (एनसीआरबी) के मुताबिक पिछले आठ साल (2013-2020) के दौरान सूबे में 3,342दंगे हुए। इस दौरान 2013में सबसे ज्यादा 542दंगे हुए। 2014में 536तो 2015में 424दंगे हुए। बीते आठ सालों में सबसे कम 269दंगे 2016में हुए। 2021के सांप्रदायिक दंगों के आंकड़े उपलब्ध नहीं हैं। इन आठ सालों में हुए दंगों में 3547लोग पीड़ित हुए हैं।

इसी साल दो अप्रैल को करौली में हिंदू नव वर्ष पर युवकों ने बाइक रैली निकाली। रैली पर पथराव के बाद हिंसा भड़क गई। उपद्रवियों ने 35से ज्यादा दुकानों, मकानों और बाइकों को आग के हवाले कर दिया। हालात काबू में करने के लिए प्रशासन ने जिले में कर्फ्यू लगाया और फिर इंटरनेट सेवा भी बंद कर दी। हिंसा में पुलिसकर्मियों सहित 43से ज्यादा लोग घायल हुए। इस हिंसा के बाद लगे कर्फ्यू के कारण शहर के लोग करीब 15दिन तक घरों में कैद रहे थे। 

वहीं दो मई 2022 को जोधपुर में परशुराम जयंती  पर रैली निकाली गई थी। इस दौरान जालोरी गेट चौराहे पर झंडे लगाए गए। देर रात ईद को लेकर समाज के लोगों ने इसी चौराहे पर झंडे लगाने की कोशिश की। इस दौरान दोनों पक्षों में मारपीट हो गई। दोनों समुदाय के लोग आमने-सामने आ गए और पत्थरबाजी शुरू हो गई। पुलिस ने लाठीचार्ज और आंसू गैस के गोले दागकर कर हालात काबू में किए। पथराव में डीसीपी भुवन भूषण यादव, एसएचओ अमित सिहाग सहित चार पुलिसकर्मी और कुछ मीडियाकर्मी भी घायल हो गए। तीन दिन तक पूरे शहर में कर्फ्यू लगा रहा।

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