Naroda Patiya Case: नरोदा पाटिया केस के 4 दोषियों को सुप्रीम कोर्ट से मिली जमानत

Naroda Patiya Case: नरोदा पाटिया केस के 4 दोषियों को सुप्रीम कोर्ट से मिली जमानत

गुजरात के नरोदा पाटिया मामले में सुप्रीम कोर्ट ने चार दोषियों को जमानत दी.

28 फरवरी 2002 को नरोदा पाटिया में हुए दंगों के मामले में उमेश भाई भरवाड़, राजकुमार, हर्षद उर्फ मूंगड़ा और पद्मेंद्र सिंह राजपूत को निचली अदालत ने सजा दी थी. बता दें कि बीते साल अप्रैल में गुजरात हाई कोर्ट ने इस मामले में फैसला सुनाया था, जिसमें इन चारों दोषियों को 10 साल की सजा सुनाई थी. नरोदा पाटिया जनसंहार में कुल 97 लोगों की मौत हुई थी.गुजरात हाईकोर्ट ने 20 अप्रैल 2018 को अपने फैसले में 29 में से 12 आरोपियों की सजा को बहाल रखा था, जबकि भाजपा की पूर्व मंत्री माया कोडनानी समेत 17 को बरी कर दिया था. चारों आरोपियों ने हाईकोर्ट के फैसले के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट में अपील दायर की।

गुजरात हाई कोर्ट ने इस मामले में फैसला सुनाते हुए भारतीय जनता पार्टी की नेता रहीं माया कोडनानी को सबूतों के अभाव में बरी कर दिया था, जबकि बजरंग दल के बाबू बजरंगी की सजा को बरकरार रखा था.

इस मामले की जांच और सुनवाई काफी लंबे समय तक चली थी और लगातार चर्चा का विषय बनी रही थी. बीजेपी अध्यक्ष अमित शाह ने भी इस मसले में अपना बयान दर्ज कराया था, शाह ने माया कोडनानी को लेकर बयान दर्ज करवाया था.

सितंबर, 2017 में दर्ज कराए गए अमित शाह के बयान में उन्होंने कहा था कि उन्होंने माया कोडनानी को 28 फरवरी, 2002 को विधानसभा में देखा था. ऐसे में ये मुश्किल है कि वह एक ही समय पर दो जगह उपस्थित हो सकें.

क्या था पूरा मामला?

गुजरात के गोधरा में 27 फरवरी, 2002 को साबरमती एक्सप्रेस की एक बोगी में आग लगा दी गई थी. इस ट्रेन में अयोध्या से लौट रहे 59 कारसेवकों की मौत हुई थी. गोधऱा मामले के बाद गुजरात में भड़के दंगों में बड़ी संख्या में लोगों की जान गई थी. इस मामले को लेकर प्रदेश की तत्कालीन मोदी सरकार सवालों के घेरे में आ गई थी. इन्हीं दंगों के दौरान नरोदा पाटिया की घटना भी हुई थी.

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