नई दिल्ली: भारत और चीन के बीच बढ़ते तनाव को लेकर भारत को अपने पुराने साथी रूस का साथ मिला है. रूस ने एक बार फिर संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद UNSC में स्थायी सदस्यता के लिए भारत का समर्थन किया है. रूस ने सुरक्षा परिषद में स्थायी सदस्यता के लिए भारत की उम्मीदवारी का समर्थन किया है. रूस के विदेश मंत्री सर्गेई लावरोव ने भारत का समर्थन किया है. रूस पहले भी सुरक्षा परिषद में स्थायी सदस्यता के लिए भारत का समर्थन कर चुका है. रूस के विदेश मंत्री का यह बयान उस समय आया है जब भारत और चीन के बीच सीमा पर खासा तनाव बना हुआ है. दोनों के बीच सीमा पर तनाव कम करने की कोशिशें लगातार जारी हैं.
रूसी विदेश मंत्री सर्गेई लावरोव का कहना है कि आज हमने संयुक्त राष्ट्र के संभावित सुधारों की बात की और भारत संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद का स्थायी सदस्य बनने के लिए एक मजबूत उम्मीदवार है और हम भारत की उम्मीदवारी का समर्थन करते हैं. हमारा मानना है कि भारत सुरक्षा परिषद का पूर्ण सदस्य बन सकता है. उन्होंने कहा कि मुझे नहीं लगता कि भारत और चीन को बाहर से कोई मदद चाहिए. मुझे नहीं लगता कि उन्हें मदद करने की आवश्यकता है.
इससे पहले संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद UNSCमें भारत की स्थायी सदस्यता की दावेदारी का ऑस्ट्रेलिया ने पिछले हफ्ते फिर से समर्थन किया था. ऑस्ट्रेलियाई हाई कमिश्नर बैरी ओ फैरेल ने कहा, 'हम संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद में भारत की स्थायी सदस्यता की दावेदारी का लंबे समय से समर्थन कर रहे हैं. उन्होंने कहा कि हम विश्व स्वास्थ्य संगठन WHO की कार्यकारी परिषद के अध्यक्ष के रूप में भारत की स्थिति को अहम और सरकात्मक रूप में देखते हैं. हालांकि हमारी भी साझा चिंताएं हैं. बताते चले कि भारत पिछले हफ्ते UNSC में अस्थायी के रूप में सदस्य चुनाव गया. भारत के पक्ष में 192 में से केवल 84 मत पड़े. भारत के 2020-21 के लिए अस्थायी सदस्य के रूप में चुना गया है.
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